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Showing posts from August, 2017

क्या आप जानते हैं दवाई के पत्ते में खाली जगह क्यों होती है ? वजह जानकार हैरान रह जाओगे ! By REAL FACTS - UNTOLD STORIES

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क्या आप जानते हैं दवाई के पत्ते में खाली जगह क्यों होती है ? वजह जानकार हैरान रह जाओगे ! By REAL FACTS - UNTOLD STORIES. ---------------- हम बहुत बार देखते है की दवाई के पत्तो में दवाई कम स्पेस ज्यादा होता है, आज हम उसी स्पेस का राज बताने वाले हैं|दोस्तों हमने मेडिकल या किसी भी होस्पिटल से दवाइयां तो जरुर ली होगी, क्योकि दुनियां में ऐसा कोई है ही नहीं जो बीमार ना हुआ हो या फिर उसे कोई दवाई (टैबलेट) ना लेनी पड़ी हो। पर कभी आपने दवाई के उस पत्ते को गौर से देखा है? जरुर आपने कभी ना कभी तो देखा होगा क्योकि जब हम बीमार होते हैं तो एक बात जरुर सोचते है की कब ये पत्ता खत्म होगा और में स्वस्थ हो जाऊँगा तभी हमारे दिमाग में एक और सवाल आता है आपके दिमाग में भी आया होगा , इस पत्ते में गोलियां तो 4 है और स्पेस इतना है की 8 गोली आराम से समा जाए ऐसा क्यों ? आज हम इसी प्रश्न का जबाव देने के लिए ये पोस्ट कर रहे है। 1)किसी भी तरह के दबाव से दवाई को कोई प्रभाव ना पड़ें – जो दवाई हम लेते हैं वो बहुत दूर दूर से आती है और इसी बिच पता नहीं कितना दबाव सहन करती हैं, क्योकि कोई मेडिकल वाला दवाई लात

यहां है बाहुबली का राज्य माहिष्मती, काल्पनिक नहीं हैं बाहुबली के किरदार, ये रहे प्रमाण

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ये सच हो सकता है कि फिल्म की कहानी काल्पनिक हो, लेकिन ये सच पूरा नहीं है कि फिल्म के किरदार काल्पनिक हैं। जिन किरदारों के आसपस कहानी का तानाबाना बुना गया है दरअसल में हम उनसे पहले परिचित हैं। जिस राज्य को लेकिर फिल्म बनाई गई है, जिसके लिए पूरी लड़ाई लड़ी जाती है वो राज्य आज अपने गौरवशानी वैभव को समेटे हुए हैं। मध्य प्रदेश में है माहिष्मती की गौरवाशाली विरासत मध्य प्रदेश का माहिष्मती दुर्ग जबलपुर में रहने वाले इतिहासविद राजकुमार गुप्ता बताते हैं कि चेदि जनपद की राजधानी 'माहिष्मति', जो नर्मदा के तट पर स्थित थी, इसका अभिज्ञान ज़िला इंदौर, मध्य प्रदेश में स्थित 'महेश्वर' नामक स्थान से किया गया है, जो पश्चिम रेलवे के अजमेर-खंडवा मार्ग पर बड़वाहा स्टेशन से 35 मील दूर है। महाभारत के समय यहाँ राजा नील का राज्य था, जिसे सहदेव ने युद्ध में परास्त किया था। 'ततो रत्नान्युपादाय पुरीं माहिष्मतीं ययौ। तत्र नीलेन राज्ञा स चक्रे युद्धं नरर्षभ:।' (महा0 सभा0 32,21) राजा नील महाभारत के युद्ध में कौरवों की ओर से लड़ता हुआ मारा गया था। बौद्ध साहित्य में माहिष्मति को द

ये हैं रामायण के सबूत इन्हें देख आप भी मान जाएंगे रामायण सच है

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ये हैं रामायण के सबूत इन्हें देख आप भी मान जाएंगे रामायण सच है, देखें तस्वीरें नमस्कार दोस्तों हमारे भारत में रामायण को एक ऐसा ग्रन्थ माना जाता है जिससे आज भी हिन्द देश में करोड़ों लोगों की आस्था जुडी हुई है। लेकिन आप को बता दें की बीते कुछ वर्षों में दुनिया इतनी तेजी से विकसित हुई है की आज की युवा पीढ़ी रामायण को सिर्फ एक हस्त लिखित कहानी मानती है। लेकिन आज अपनी इस पोस्ट में हम रामायण के वह सबूत दिखाने जा रहे हैं, जिसे देख कर शायद आप भी रामायण से अपने संदेह को दूर कर उस पर भरोसा करने लगेंगे। लंकापति रावण की लंका आप की जानकारी हेतु बता दें की श्रीलंका की रामायण कमिटी ने बहुत खोज बिन करके यह सबूत इक्कठे किये हैं की जिस महल में रावण अपनी पत्नी के साथ रहता था। इसके साथ ही रामायण में लंकापति रावण से युद्ध करने से पहले जिसे हनुमान जी ने लंका के साथ ही जला दिया था। वह महल आज भी श्रीलंका में स्थित है। जो इस बात की पुष्टि करता है की यह महल रामायण काल का बना हुआ है, जिसे हनुमान जी ने जला दिया था। अशोक वाटिका सीता का हरण करने के बाद रावण ने सीता को जिस अशोक वाटिका में रखा